दिल के दाग दिखाए क्यों

dil ke daag dikhaye kyu
दिल के दाग दिखाए क्यों
ग़म के नग़्मे सुनाए क्यों

सुनेगी दुनिया हंस हंस के तुम पर
फिर कहेंगे चलो जाओ वापस तुम आए क्यों

राह मुहब्बत की कब जमाने में आसान थी
हमसे पूछे बिना यूं आजमाए क्यों 

बात पूछेंगे भी तंज देते हुए
इश्क में उन दिनों बहोत इतराए क्यों

दिल के दाग दिखाए क्यों 
ग़म के नग़्मे सुनाए क्यों

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